मुंबई, 17 जनवरी, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। ED ने मैसूर अर्बन डेवलपमेंट अथॉरिटी (MUDA) जमीन घोटाला केस में कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया और अन्य की 300 करोड़ कीमत की अचल संपत्तियां जब्त की हैं। यह जानकारी शुक्रवार को ED ने दी। जांच एजेंसी ने बताया कि यह कार्रवाई मनी लॉन्ड्रिंग केस में की गई है। इसके तहत इन लोगों की 142 प्रॉपर्टियां सीज की गई हैं। ED के जारी बयान में कहा, 'जब्त की गई संपत्तियां अलग-अलग लोगों के नाम पर रजिस्टर्ड हैं। ये लोग रियल एस्टेट व्यवसायी और एजेंट के तौर पर रूप में काम कर रहे हैं।'
दरअसल, MUDA पर आरोप है कि उसने कई लोगों को कम कीमत पर कई प्रॉपर्टियां दी थीं। इनमें सिद्धारमैया की पत्नी पार्वती को मैसूरु में पॉश इलाके में दी गईं 14 साइट्स भी शामिल हैं। ये साइट्स मैसूरु के कसाबा होबली स्थित कसारे गांव में उनकी 3.16 एकड़ जमीन के बदले दी गई थीं। 14 साइट्स 3 लाख 24 हजार 700 रुपए में आवंटित की गई थीं। हालांकि, इस 3.16 एकड़ जमीन पर पार्वती का कोई कानूनी अधिकार भी नहीं था। ये जमीन पार्वती के भाई मल्लिकार्जुन ने उन्हें 2010 में गिफ्ट में दी थी। MUDA ने इस जमीन को अधिग्रहण किए बिना ही देवनूर स्टेज 3 लेआउट विकास किया था।
ED जांच में खुलासा हुआ है, पूर्व MUDA आयुक्त डीबी नटेश ने श्रीमती बीएम पार्वथी को इन साइट्स के अवैध आवंटन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इन 14 साइट्स के अतिरिक्त कई अन्य साइट्स को भी MUDA ने रियल एस्टेट व्यापारियों को मुआवजे के रूप में अवैध रूप से आवंटित किया। इन साइट्स को बाद में ऊंचे दामों पर बेचा गया और भारी मात्रा में अघोषित नकदी जुटाई गई। इस धन को बाद में वैध स्रोत से प्राप्त दिखाने के लिए मनी लॉन्ड्रिंग की गई। जांच में यह भी सामने आया कि फर्जी/डमी व्यक्तियों और प्रभावशाली लोगों के नाम पर साइट्स आवंटित की गईं। साथ ही, अवैध लेन-देन में शामिल MUDA के अध्यक्ष और आयुक्त से संबंधित अचल संपत्ति, नकदी और साइट्स बरामद की गई हैं। अवैध रूप से प्राप्त धन का उपयोग संपत्तियों की खरीद, लग्जरी वाहनों और सहकारी समितियों के माध्यम से किया गया। इस धन को पूर्व MUDA आयुक्त जीटी दिनेश कुमार के रिश्तेदारों के नाम से भी घुमाया गया।